आपका कोई भी यूएएन से जुड़ा हुआ है किसी और की पहचान, घर बैठे ऐसे झटपट करें डीलिंक

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कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ):नौकरी लेने वालों की नौकरी का एक हिस्सा पीएफ के तौर पर काटा जाता है, जो उनके खाते में जमा होता है। टिप्पणी के बाद यह पेंशन पेंशन के रूप में देखी जाती है। फ़ास्ट अकाउंट में हर महीने फ़सल का 12 प्रतिशत जमा होता है। इतना ही परसेंट नियोक्ता भी देता है। सरकार इस पर रुचि रखती है। ईपीएफ में 12 अंकों का एक यूनिवर्सल अकाउंटेंट नंबर (यूएएन) होता है। इसकी मदद से आप अपना खाताधारक जुड़ सकते हैं। परेशानी टैब में लिखा है, जब कर्मचारियों को एक के बदले में कई यूएन नंबर दिए गए हैं।

बोर्ड डीलिंक वक्ता इस बात का ध्यान रखें 

अब यूएएन के साथ किसी गलत कनेक्शन पर आप उसे घर बैठे आराम से डीलिंक कर सकते हैं। स्टाफ़ फ़्यूचर फंड ऑर्गनाइज़ेशन (ईएफ़ओ) ने 17 जनवरी, 2025 को जारी एक सरकुलर में कहा, ग्रुप को यूएन में किसी भी ग़लत मेंबर को डी-लिंक करने की सुविधा का निर्णय लिया गया है। यूएएन से जुड़े किसी भी और मेंबर की आईडी को डीलिंक करने के लिए इस बात का ध्यान रखें कि आधार से लिंक करें आपका मोबाइल नंबर सक्रिय है। डीलिंक करने के प्रोसेज़ से पहले आपकी दी गई हर डिटेल को वेरिफाई करना जरूरी है ताकि कहीं भी कुछ सुविधाजनक न रह जाए। आप चाहते हैं तो  ईपीएफ सपोर्ट से भी मदद मांग सकते हैं। 

अपना यूएएन लिंक किसी और व्यक्ति को ऐसे करें डीलिंक

    <ली शैली="पाठ-संरेखण: औचित्य सिद्ध करें;">सबसे पहले https://unifiedportalmem.epfindia.gov.in/memberinterface/.पर जाएं।
  • अब अपना यूएएन, पासवर्ड, कैप्चा स्टोन साइन इन करें।
  • इसके बाद व्यू मेन्यू पोस्ट ऑफिस पर जाए।
  • अब अपना सर्विस रिकॉर्ड देखने के लिए सब-मेन्यू में यूजर सिलेक्ट सर्विस क्लोजर पर क्लिक करें।
  • इसमें ग्राहक अपने यूएएन से जुड़े गलत जानकारी को ढूंढते हैं।
  • अब रीलिवेंट रिकॉर्ड के पास डीलिंक बटन पर क्लिक करें।
  • कन्फर्मेशन की पुष्टि होने पर ओके पर क्लिक कर आगे बढ़ें।
  • अगले पेज पर डीलिंक करने का कारण सिलेक्ट करें। 
  • अब दो सहमति बॉक्स आएं, जिस पर क्लिक करें और आपके मोबाइल पर एक ओटीपी आएगा।
  • ओटीपी दर्ज कर सबमिट पर क्लिक करें।
  • ओटीपी वेर असैनिट के बाद डीलिंक होगा। 
  • अब आपकी सर्विस क्रॉलिशन में डीलिंक्स दिखाई नहीं दे रही है।

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डोगे | डोगे

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विवेक रामास्वामी का इस्तीफा: रिपब्लिकन नेताओं और भारतीय मूल के विवेकशील रामास्वामी ने केवल 69 दिनों के लिए डिपार्टमेंट ऑफ नेशनल एफिशिएंसी (DOGE) के सह-नेता पद से इस्तीफा दे दिया। पोलिटिको की एक रिपोर्ट के मुताबिक, यह फैसला एच-1बी मास्टर पर उनके धार्मिक षड्यंत्र और एलन मस्क समेत प्रमुख रिपब्लिकन नेताओं के दबाव के बाद लिया गया।

रामास्वामी ने हाल ही में एक्स (पूर्व में रेडियो) पर एक पोस्ट साझा की थी, जिसमें उन्होंने अमेरिकी कंपनियों पर विदेशी कर्मचारियों को काम पर रखने का आरोप लगाया था। उनके अनुसार अमेरिकियों श्रेष्ठता को अनदेखा कर रही हैं और विदेशी कर्मचारियों को प्राथमिकता दे रही हैं। रामास्वामी की गिरफ्तारी का मुख्य कारण यही माना जा रहा है।

H-1B मास्टर क्या है?
यह वजीर अमेरिकी संगठनों को विशेष रूप से विदेशी कर्मचारियों के लिए अस्थायी रूप से नियुक्त करने की अनुमति देता है। 2023 में रिलीज़ 386,000 H-1B मास्टर्स में से 72.3% भारतीय नागरिकों को मिला।H-1B मास्टर्स का बड़ा हिस्सा टेक और इंजीनियरिंग सेक्टर से आता है। रामास्वामी के बयान में केवल अमेरिकी वर्कशॉप मोबिलिटी की बात कही गई है
पर बहस छेड़ दी गई, बल्कि रिपब्लिकन पार्टी के अंदर कलह को भी शामिल कर दिया गया. उनके मोटरसाइकिल को 118 मिलियन से ज्यादा बार देखा गया।

एलन मस्क की भूमिका के पीछे पीछे
DOGE में रामास्वामी की भूमिका के दौरान, मस्क और अन्य रिपब्लिकन नेताओं ने एकजुटता को लेकर अपने विचार रखे। वास्तविक प्रशासन के करीबी एक रणनीतिकार के अनुसार यह घटना एलन मस्क के जीओपी में बढ़ते प्रभाव को प्रभावित करती है। मस्क ने न केवल रामास्वामी की आलोचना की, बल्कि उन्हें डोगे से बाहर करने में उनका बड़ा हाथ माना जा रहा है।

रामास्वामी की अगली राजनीतिक रूपरेखा
39 साल के रामास्वामी, जो भारतीय-अमेरिकी कट्टरपंथियों के रूप में प्रसिद्ध हुए, अब ओहियो के गवर्नर पद के लिए 2026 में चुनाव की तैयारी कर रहे हैं। हतोत्साहित होने के बाद, रामास्वामी ने एक्स पर एक बयान में कहा कि DOGE के निर्माण का समर्थन करना मेरे लिए सम्मान की बात थी। मुझे विश्वास है कि एलन और उनकी टीम सरकार सुव्यवस्थित करने में सफल होंगे। ओहियो में अपने भविष्य की परिभाषा के बारे में मैं जल्द ही घोषणा करूंगा। उन्होंने राष्ट्रपति कच्चे माल को जारी रखने के वादे का भी समर्थन किया।

DOGE विवाद का असर GOP पर
रामास्वामी की डोगे से छुट्टी और विवाद जीओपी के अंदर लचीले लाठी का संकेत है। इस घटना से स्पष्ट पता चलता है कि मस्क के जीओपी में प्रभाव और प्रशासन पर उनकी कितनी पकड़ है। बता दें कि रामास्वामी के बयान में पार्टी के आव्रजन सचिवों को शामिल किया गया था।

ओहियो के गवर्नर चुनाव पर नजरें
विवेक रामास्वामी का DOGE से बाहर H-1B वजीर और GOP के अंदर नीतिगत मतभेद का कारण आया। अब उनकी नजरें ओहियो के गवर्नर चुनाव पर हैं जहां उन्हें अगली कड़ी के राजनीतिक बयानों का सामना करना पड़ सकता है।,

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भारत बनाम इंग्लैंड टी20 मैच बज़बॉल क्रिकेट अभिषेक शर्मा पचास वरुण चक्रवर्ती भारत बनाम इंग्लैंड पहला टी20

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ब्रेंडन मैकुलम बैज़बॉल भारत बनाम इंग्लैंड: भारत ने कोलकाता में खेला पहला टी20 मैच इंग्लैंड में 7 विकेट से बनाया है। इसी मैच में ब्रेंडन मैकुलम ने इंग्लैंड की व्हाइट बॉल टीम के कोच के रूप में पद संभाला है। पिछले कुछ सालों में मैकुलम के अंडर इंग्लैंड की टेस्ट टीम बैज़बॉल स्टाइल में खेलती आ रही थी। ऐसे में स्टॉक प्लॉट जा रहे थे कि मैकुलम की आक्रामक टीम इंग्लैंड, टीम इंडिया को पहले टी20 मैच में टक्कर देगी लेकिन असल में ऐसा कुछ नहीं हुआ।

धरा रह गया बजबॉल

यह इंग्लैंड टीम की पुरानी समस्या है कि वह व्हाइट बॉल मैच के मिडिल ओवरों में स्पिन गेंदबाजी के खिलाफ संघर्ष करती है। इस बार भी कुछ ऐसा ही हुआ है. अर्शदीप सिंह ने फिल साल्ट और बेन डकेट की विकेट अर्ली लेकर इंग्लैंड को शुरुआती संकेत दिए थे। अभी हैरी ब्रूक और जोस बटलर ने 8वें ओवर में हैरी ब्रूक और लियाम लिविंगस्टोन को शामिल किया था। बैटलबॉल की उम्मीदों के बीच इंग्लैंड की पूरी टीम 132 रन ही बना पाई।

गौतम गंभीर के लिए विशाल बढ़ाने वाली जीत

एक तरफ ब्रेंडन मैकुलम को इंग्लैंड के व्हाइट बॉल कोच के तौर पर अच्छी शुरुआत नहीं मिली। दूसरी ओर गौतम गंभीर और टीम इंडिया के लिए यह जीत ग्रुप वर्धित आपूर्ति वाली रहेगी। हाल ही में भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया के हाथों बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में 1-3 से हार मिली थी। वहीं गौतम सीरियस की कोचिंग में भारत को लगातार 2 टेस्ट सीरीज हार का सामना करना पड़ा, ऐसे में यह सीरियस जीत के लिए भी स्कोर बढ़ाने वाली रही। गंभीर हाल ही में कोलकाता में स्थित कालीघाट मंदिर माथा टेकने भी पूरे प्रदेश में थे। यह भी रणनीति थी कि टीम इंडिया ने प्लेइंग इलेवन में मोहम्मद शमी को शामिल नहीं किया था, इस फैसले से सभी चौंक गए थे, लेकिन अंत में तीन स्पिनरों के साथ जाने की भारत की रणनीति योजना साबित हुई।

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सेना के जवानों के पास है खास SAMBHAV 5G स्मार्टफोन, जानिए आम फोन से कैसे है अलग?

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एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार, सेना पर हमला करने के लिए संभव को अत्यधिक सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से विकसित किया गया है। यह फोन एंड-टू-एंड सिक्योर मोबाइल इकोसिस्टम पर काम करता है, जिससे सभी संचार पूरी तरह से सुरक्षित रहते हैं।

एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार, सेना पर हमला करने के लिए संभव को अत्यधिक सुरक्षा प्रदान करने के उद्देश्य से विकसित किया गया है। यह फोन एंड-टू-एंड सिक्योर मोबाइल इकोसिस्टम पर काम करता है, जिससे सभी संचार पूरी तरह से सुरक्षित रहते हैं।

फोन में एडवांस 5G टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया गया है, जो तेज और इंस्टेंट इंपोर्टेबल ऑफर करता है। इसके साथ ही, फुल एन लेवल तकनीक से डेटा पूरी तरह से सुरक्षित रखा जाता है।

फोन में एडवांस 5G टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया गया है, जो तेज और इंस्टेंट इंपोर्टेबल ऑफर करता है। इसके साथ ही, फुल एन लेवल तकनीक से डेटा पूरी तरह से सुरक्षित रखा जाता है।

इस फोन में पहले से ही सेना के अधिकारियों के संपर्क नंबर सेव होते हैं, जिससे अलग से नंबर सेव करने की आवश्यकता नहीं होती है।

इस फोन में पहले से ही सेना के अधिकारियों के संपर्क नंबर सेव होते हैं, जिससे अलग से नंबर सेव करने की आवश्यकता नहीं होती है।

SAMBHAVTECH में एक खास ऐप एम-सिग्मा दिया गया है, जो व्हाट्सएप जैसा है। इसके माध्यम से युवा सुरक्षित रूप से संदेश ट्रांसमिशन, वीडियो कॉल करने और दस्तावेज़ साझा करने की सुविधा प्राप्त कर सकते हैं।

SAMBHAVTECH में एक खास ऐप एम-सिग्मा दिया गया है, जो व्हाट्सएप जैसा है। इसके माध्यम से युवा सुरक्षित रूप से संदेश ट्रांसमिशन, वीडियो कॉल करने और दस्तावेज़ साझा करने की सुविधा प्राप्त कर सकते हैं।

यह फोन केवल सेना के लिए वाहन उपयोग के लिए तैयार किया गया है और एयरटेल और जियो के 5G नेटवर्क पर काम करता है।

यह फोन केवल सेना के लिए वाहन उपयोग के लिए तैयार किया गया है और एयरटेल और जियो के 5G नेटवर्क पर काम करता है।

यह आम मोबाइल फोन से बिल्कुल अलग है। इसमें वीडियो क्लिप का इस्तेमाल किया गया है, जिससे डेटा लीक होने का खतरा नहीं होता है। कोई भी थ्रेड-पार्टी ऐप डाउनलोड नहीं किया जा सकता है।

यह आम मोबाइल फोन से बिल्कुल अलग है। इसमें वीडियो क्लिप का इस्तेमाल किया गया है, जिससे डेटा लीक होने का खतरा नहीं होता है। कोई भी थ्रेड-पार्टी ऐप डाउनलोड नहीं किया जा सकता है।

इसमें सबसे पहले आर्मी की प्रीसेव्ड कॉन्टैक्ट डायरेक्टरी मौजूद है। यह पूरी तरह से एक बंद और सुरक्षित मोबाइल इकोसिस्टम पर आधारित है। वर्तमान समय में तकनीक जरूरी उपकरण बन गया है, लेकिन इसके माध्यम से जानकारी लीक होने का खतरा भी बढ़ गया है। इसी कारण से, सेना ने ऐसी तकनीक विकसित की है जो कि मोर्टार को सुरक्षित और प्रभावशाली बनाती है। SAMBHAV का मतलब है, सिक्योर आर्मी मोबाइल भारत वर्जन.

इसमें सबसे पहले आर्मी की प्रीसेव्ड कॉन्टैक्ट डायरेक्टरी मौजूद है। यह पूरी तरह से एक बंद और सुरक्षित मोबाइल इकोसिस्टम पर आधारित है। वर्तमान समय में तकनीक जरूरी उपकरण बन गया है, लेकिन इसके माध्यम से जानकारी लीक होने का खतरा भी बढ़ गया है। इसी कारण से, सेना ने ऐसी तकनीक विकसित की है जो कि मोर्टार को सुरक्षित और प्रभावशाली बनाती है। SAMBHAV का मतलब है, सिक्योर आर्मी मोबाइल भारत वर्जन.

प्रकाशित: 22 जनवरी 2025 09:31 अपराह्न (IST)

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घर खरीदना या किराए पर लेना जो लंबी अवधि के लिए फायदेमंद रहेगा

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घर खरीदना या किराये पर लेना: लोग बार-बार इस सवाल में उलझे रहते हैं कि घर में रहना समझदारी है या किराए पर लेना। लगभग हम सभी के मन में यह बात आती है कि घर में अपना पैसा इन्वेस्ट करें या किराए पर उस पैसे का निवेश कहीं और करें। आज हम इस खबर के जरिए आपकी इसी तरह की कुछ हद तक कम करने की कोशिश करेंगे।

रेजिडेन्स रसायन शास्त्र की हल्दी जा रही मांग

हाल की कुछ रिपोर्ट्स में यह देखने को मिला है कि लोगों में अपने घर की खरीदारी की चाहत है। किराए पर हो रही गैंग को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया जा सकता है। पिछले साल जुलाई से सितंबर तक के एक डेटा में इस बात का खुलासा हुआ कि देश के 13 बड़े शहरों में रेजिडेंसियल वैभव की मांग बढ़ी है। यह साल-दर-साल 7 प्रतिशत की शुरुआत है। जबकि किराए पर घर लेने में साल-दर-साल 3.1 प्रतिशत से अधिक की बढ़ोतरी हुई है।

किराए पर घर लेने में लोग दिखा रहे कम इंटरेस्ट

बैंगलोर जैसे शहर में तो रेजीडेंसियल मिर्ज़ा की रिलीज़ हर तिमाही 18.2 प्रतिशत की दर से बढ़ रही है, जबकि किराए पर घर लेने की मांग में 2.8 प्रतिशत की गिरावट का आकलन किया गया है। दिल्ली और मुंबई जैसे शहरों का भी कुछ ऐसा ही हाल है, जहां लोगों में अपने घर लेने की होड़ मची है। इसके यूनिटी लोग अब किराए पर घर लेने में नहीं दिख रहे हैं। अब सवाल यह है कि समझदारी किसमें है?

घरेलू समय-समय पर इस बात का ध्यान रखें

बेलवेदर एसोसिएट्स एल.बी.एल.सी. के शेयरधारकों ने इस पर बिजनेस टुडे से बात करते हुए कहा, किराए पर लिया गया घर सही या सटीक है, इसका कोई निश्चित उत्तर नहीं है। हालाँकि, दुनिया भर के रूझानों और अपने यहाँ के बाज़ार की एना बस बनाने पर पता चलता है कि लोगों में घर की सजावट का सामान है। बाकी किराया बढ़ रहा है इसलिए लोग अपने घर लेने में अधिक तरल दिखा रहे हैं। ज्यादातर पहली बार घर खरीदने वाले लोग होम लोन का सहारा लेते हैं। अब देखने वाली बात यह है कि देश की सबसे शानदार संपत्ति का किराया लगभग 3-3.5 प्रतिशत है, जबकि होम लोन पर ब्याज 8.25-50 प्रतिशत है। ऐसे में ज्यादा ब्याज घर के शेयर में कोई तुक नहीं बनती है.

लोन लेने से पहले यह कैलकुलेशन जरूरी है

घर के लिए बड़ा लोन लेना सही नहीं है क्योंकि आप मंथली किराए पर अकेले पैसे चुकाते हैं, वह होम लोन की ईएमआई का एक हिस्सा है। घर खरीदना सही है या किराए पर लेना सही है? इसके लिए आपको यह देखना होगा कि आपने कितनी रकम भरी है और मासिक ईएमआई कितनी चुकानी है, अगर दोनों में रकम का अंतर है तो किराए पर घर लेना ही समझदारी है। होम इंस्टालेशन समयावधि लोन अमाउंट को कम से कम रखने की कोशिश करें क्योंकि लोन पर ब्याज बढ़ा तो आवासीय संपत्ति और कई पूर्वजों में यह आपकी संपत्ति के नाम से अधिक होगी।

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आपका कोई भी यूएएन से जुड़ा हुआ है किसी और की पहचान, घर बैठे ऐसे झटपट करें डीलिंक

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राजपाल यादव, रेमो डिसूजा और सुगंधा मिश्रा को पाकिस्तान से धमकी भरा ईमेल, 8 घंटे में जवाब दें

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अभिनेता को पाकिस्तान से ईमेल से धमकी: मुंबई के तीन बड़े कलाकारों का पाकिस्तान से खतरनाक भरा मेल आया है। अखबार ने बताया कि ये खतरनाक राजपाल यादव, रेमो डिसूजा और सुगंधा मिश्रा को मिला है। इसे लेकर मुंबई पुलिस ने राजपाल यादव की शिकायत पर एफआईआर दर्ज की है। पुलिस को टीवी एक्ट्रेस सुगंधा मिश्रा और स्ट्रेचर रेमो की तरफ से भी शिकायत मिली है।

ईमेल करने वाले ने दावा किया कि ईमेल के अंत में ‘बिश्नु’ लिखा था। दावा किया जा रहा है कि प्रारंभिक जांच में पता चला कि ईमेल करने वाला पाकिस्तान से आया था। इस मामले में आगे की जांच चल रही है।

मेल में एक्टर्स को मिला ये ख़तरनाक
इस ईमेल में पाकिस्तान से आए राजपाल यादव, रेमो डिसूजा और सुगंधा मिश्रा के एक्शन पर नजर बनाए रखने का दावा किया गया है. मेल में लिखा है- ‘हम आपके हाल के एक्शन की निगरानी कर रहे हैं। हमारा मानना ​​है कि ये जरूरी है कि हम आपके ध्यान में एक आकर्षक मामला लाएं। ये कोई भी पब्लिक स्टाॅक या आपको परेशान करने की कोशिश नहीं है. हम आपसे अनुरोध करते हैं कि इस सेवा को बहुत से चयनितों से लिया जाए और भंडारण की जांच की जाए।’

मेल कलाकार ने 8 घंटे का इनसाइड जवाब मांगा
मेल में आगे लिखा है कि अगर मेल एक्टर की बात नहीं मानी गई तो राजपाल यादव, सुगंधा मिश्रा और रेमो डिसूजा को खतरेनाम से रियाज होगा। मेल कलाकार ने स्टार्स से 8 घंटे का इनसाइड जवाब भी मांगा है। मेल में लिखा है- ‘ऐसा न करने पर नतीजे खतरनाक हो सकते हैं जो आपकी प्रोफेशनल और पर्सनल लाइफ पर असर डाल सकते हैं। हम अगले 8 घंटों के अंदर तुरंत प्रतिक्रिया की उम्मीद करते हैं। अगर हमारे पास कोई रिप्लाई नहीं है, तो हम मान लेंगे कि आप इस मामले में नामांकन से नहीं ले रहे हैं और हम जरूरी कार्रवाई करेंगे। विष्णु.’

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तृतीय विश्व युद्ध के बारे में आईआईटीयन बाबा अभय सिंह की भविष्यवाणी

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अलग-अलग आयोजित महाकुंभ में ऐसे कई बाबा हैं जो दुनिया भर में इकठ्ठा हो रहे हैं। ये बाबा सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहे हैं। इन बाबाओं के बीच एक ऐसे भी बाबा हैं जो ‘आईआईटीयन बाबा’ के नाम से लोकप्रिय हो गए हैं। ये हर विषय पर बेबाक़ी से अपनी बात रख रहे हैं। लोगों के बीच ये काफी मशहूर भी हैं. इन दिनों आईआईटी बाबा अपनी एक विशेष भविष्यवाणी को लेकर चर्चा में हैं। क्या है ये भविष्यवाणी, जानिए.

आईआईटी बाबा का असली नाम अभय सिंह है, जो हरियाणा के रहने वाले हैं। आई बस्ट एन बाबा (आईआईटियन बाबा) ने दुनिया के विनाश को लेकर बड़ी भविष्यवाणी की है। आईआईटी बाबा ने बताया कि तीसरा विश्व युद्ध होने वाला है, इसकी नींव रखी गई है। उनका कहना है कि रसिया युक्रेन से शुरू हुआ युद्ध विश्व युद्ध (विश्व युद्ध) के रूप में कुछ भी नहीं कहा जा सकता है। आईआईटी बाबा के अनुसार वर्ष 2025 के अंत तक विश्व युद्ध की स्थिति पैदा हो रही है। उन्होंने यह भी कहा है कि यदि विश्व युद्ध नहीं हुआ तो प्राकृतिक आपदाओं के कारण विश्व का विनाश निश्चित है।

आईआईटी बाबा का कहना है कि प्राकृतिक आपदाएं विकराल रूप लेंगी और दुनिया में हर तरफ दुख और परेशानी रहेगी। ऐसे हो सकता है कलयुग में विश्व का विनाश. आई बाक्सएन बाबा के वर्ष 2025 के अंत में तीसरा विश्व युद्ध (तीसरा विश्व युद्ध) हो सकता है। महाकुंभ में अभय सिंह (आईआईटी बाबा) बेहद लोकप्रिय हो गए हैं। लोग इनके दर्शन के लिए प्रतीक्षा करते हैं। वे हर विषय पर अपने ज्ञान और अनुभव के आधार पर तारकीय विचार रखते हैं, जिसे लोग पसंद कर रहे हैं। वे आपके शिव के भक्त हैं। युवाओं के बीच वे मांगें इकट्ठा कर रहे हैं। महाकुंभ में वायरल होने के बाद सोशल मीडिया पर उनके प्रशंसकों की संख्या तेजी से बढ़ी है। वे महाकुंभ में सनातन धर्म और अध्यात्म की शक्ति और दर्शन को समझने का प्रयास कर रहे हैं।

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अस्वीकरण: यहां चार्टर्ड सूचना सिर्फ अभ्यर्थियों और विद्वानों पर आधारित है। यहां यह जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह के सिद्धांत, जानकारी की पुष्टि नहीं होती है। किसी भी जानकारी या सिद्धांत को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।

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पूरे भारत में शिक्षा में क्रांति लाने के लिए 100 नए सैनिक स्कूल

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देश में शिक्षा में सुधार और समग्र विकास के लिए बड़े कदम उठाए गए केंद्र सरकार ने 100 नए सैनिकों के लिए स्कूल स्थापित करने का निर्णय लिया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रविवार को केरल के अलप्पुझा में विद्याधिराज सोल्जर्स स्कूल के 47वें वार्षिक दिवस समारोह के दौरान इस योजना की घोषणा की। उन्होंने भारत के शिक्षा क्षेत्र में क्रांति लाने और बच्चों के सर्वांगीण विकास को सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल बताई। सरकार का यह कदम स्तर के क्षेत्र में गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा समिति और हर वर्ग के बच्चों, सैनिकों, सैनिकों के माध्यम से बेहतर अवसर प्रदान करने का लक्ष्य है।

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रविवार को देश भर में 100 नए सैनिकों के लिए स्कूल स्थापित करने की केंद्र सरकार की शिक्षा क्षेत्र में एक क्रांतिकारी कदम बताया। यह कदम देश में शिक्षण शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार करने और संपूर्ण विकास को बढ़ावा देने के लिए उठाया गया है। केरल के अलपुझा में विद्याधिराज सैनिक स्कूल के 47वें वार्षिक दिवस समारोह का उद्घाटन करते हुए रक्षा मंत्री ने कहा कि इन सैनिकों की स्थापना से शिक्षा क्षेत्र में बड़े बदलाव की उम्मीद है।

शिक्षा में क्रांति और आत्मनिर्भर भारत का लक्ष्य

रक्षा मंत्री ने यह भी घोषणा की कि अब सैनिकों में लड़कियों के लिए सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। इस समाज में लैंगिक समानता को बल की आवश्यकता होती है और अधिक से अधिक ज़ायकेदार इन मिशिगन में शिक्षा प्राप्त कर सहायकगी। उन्होंने कहा कि सरकार का उद्देश्य देश के हर जिले में सैनिक स्कूल की स्थापना करना है, जिससे गरीबों और विभिन्न सांस्कृतिक पृष्ठभूमि वाले छात्रों को उत्कृष्ट शिक्षा का अवसर मिल सके।

बच्चों में सैनिकों के गुण विकसित करने पर जोर

राजनाथ सिंह ने शिक्षा के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि भारत की आत्मनिर्भरता बढ़ रही है और ऐसे में स्वास्थ्य, उद्योग, रक्षा और संचार के साथ-साथ शिक्षा में भी सुधार जरूरी है। उन्होंने कहा कि बच्चों के सर्वांगीण विकास और शिक्षा क्षेत्र में क्रांति की जरूरत है, ताकि वे देश के भविष्य के लिए बेहतर योगदान दे सकें।

ऐतिहासिक परंपरा का उदाहरण

रक्षा मंत्री ने सैनिकों के निर्देश, गुण और आत्म-नियंत्रण जैसे गुणों की सराहना करते हुए कहा कि बच्चों में इन गुणों का विकास महत्वपूर्ण है। उन्होंने स्वामी विवेकानंद, आदि पूर्वजों और राजा रवि वर्मा जैसे महान विरासत का उदाहरण देते हुए कहा कि उनके सामाजिक, सांस्कृतिक और धार्मिक सुधारों के योगदान को एक प्रकार के ‘युद्ध क्षेत्र’ के रूप में भी देखा जा सकता है।

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शिक्षा ऋण की जानकारी:
शिक्षा ऋण ईएमआई की गणना करें

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iPhone 17 का डिज़ाइन लीक, Pixel जैसा है रियर कैमरा मॉड्यूल, जानें कब होगा लॉन्च?

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एप्पल आईफोन 17 सीरीज: iPhone 17 सीरीज इस साल के अंत तक बेटियो में लॉन्च हो सकती है। वहीं, पिछले कुछ दिनों से iPhone 17 से जुड़ी लीकेज जानकारियां ऑनलाइन सामने आई हैं। इस बार, इस सीरीज में बेस, सीएक्स, प्रो और प्रो मैक्स के साथ एक स्लिम वेरिएंट भी शामिल हो सकता है। पहले एक लाइक पर संकेत दिया गया था कि इस श्रृंखला में रीडर कैमरा मॉडल का नया डिज़ाइन हो सकता है। अब, एक नए लाइक में इस दावे की पुष्टि की गई है और एक वजिरेटर-स्टाइल कैमरा यूनिट लगा है, जिसने हाल के आईफोन में दिए गए वर्गाकार कैमरे के डिजाइन को अलग से देखा है।

iPhone 17 का लाइक बैक पैनल डिज़ाइन

टिप्सटर माजिन बू (@MajinBuOfficial) ने मंगलवार को iPhone 17 के बैक मॉडल की लाइव तस्वीरें साझा कीं। पोस्ट में iPhone के अलग-अलग ज़िक्र नहीं किए गए हैं, लेकिन यह बेस मॉडल हो सकता है। तस्वीर में टॉप पर एक वज्र जैसा पिल-शेप्ड मैप देखा गया, जिसमें बायीं ओर एक सिंगल कैमरा कट आउट है।

इस वैजिट्रेट-स्टाइल डिज़ाइन की तुलना Google PixelTechs के कैमरा मॉडल से की जा सकती है। ध्यान देने योग्य बात यह है कि iPhone 16 और iPhone 16 Plus में वर्टिकल एलिमेंट्री एक्सेसरीज़ कैमरा फ्रेम हैं, जबकि प्रो मॉडल में iPhone 11 के बाद से स्क्वायराकार डिज़ाइन देखा गया है। पहले एक लाइक में दावा किया गया था कि यह नई डिजाइन “फोर्पोर्ट रोड लाइट” बनाने के लिए बनाई जाएगी, जिसके लिए संभवतः फेस आईडी का उपयोग किया जाएगा।

iPhone 17 सीरीज के फीचर्स

एक रिपोर्ट के मुताबिक, iPhone 17 Pro और Pro Max में 48-मेगापिक्सल टेलीफोटो कैमरे और 5x एलोकल लेंस हो सकते हैं। यह iPhone 16 Pro मॉडल के 12-मेगापिक्सल पिक्सल के ब्लूटूथ बड़ा साउंडट्रैक होगा। iPhone 16 Pro और Pro Max में 12-मेगापिक्सल का ट्रूडेप्थ सेल्फी कैमरा है, जबकि iPhone 17 Pro मॉडल में 24-मेगापिक्सल का फ्रंट कैमरा सेंसर दिए जाने की उम्मीद है।

नवीनतम एआई सुविधाएँ

Apple, iPhone 17 Air मॉडल से लेकर Samsung Galaxy S25 स्लिम तक लॉन्च हो सकता है। पहले लाइक में दावा किया गया था कि iPhone 17 Air 5.5mm लेटेस्ट और eSIM सपोर्ट देगा। इसमें A18 या A19 चिपसेट, 8GB रैम और Apple के फीचर्स दिए गए हैं।

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सूत्र का कहना है कि डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन दूसरे कार्यकाल में मजबूत भारत-अमेरिका संबंधों पर ध्यान केंद्रित करेगा

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भारत-अमेरिका संबंध: डोनाल्ड रियल के दूसरी बार अमेरिका के राष्ट्रपति बनने के बाद लोगों की नजरें इस बात पर हैं कि इन दूसरे प्रशासन में भारत- अमेरिका के साथ कैसा संबंध होगा। भारत ने अमेरिका के साथ पासपोर्ट को लेकर फ्रंट फ़ुट पर खेलना शुरू कर दिया है। डोनाल्ड अंकल के शपथ ग्रहण समारोह में विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अपने प्रशासन के शीर्ष अधिकारियों से मुलाकात में हिस्सा लिया।

जयशंकर को भारत के विशेष दूत के रूप में भेजा गया क्योंकि प्रधानमंत्री मोदी उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं हुए थे। विदेश मंत्री जयशंकर ने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार माइक वाल्ट्ज से मुलाकात की और फिर विदेश मंत्री मार्को रुबियो, ऑस्ट्रेलियाई विदेश मंत्री पेनी वोंग और जापानी विदेश मंत्री इवाया ताकेशी के साथ मैड्रिड बैठक में हिस्सा लिया। इसके तुरंत बाद जय शंकर और मार्को रुबियो की बीच मीटिंग हुई।

डोनाल्ड रियल ने भारत को दिया टुकड़ा

हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, स्टीच की रणनीति में भारत का महत्व इस बात से पता चलता है कि मार्को रुबियो की पहली बहुपक्षीय बैठक की बैठक हुई थी और सचिव रुबियो की पहली सामूहिक बैठक भारत के साथ हुई थी। इसी रिपोर्ट में टॉप के समुच्चय के बारे में बताया गया है कि हिन्द-प्रशांत क्षेत्र के माध्यम से विक्रय प्रशासन ने तटरक्षक बैठक और मंत्री जयशंकर के साथ मिलकर एक स्पष्ट संदेश देते हुए भारत के समर्थन को मजबूत करने का निर्णय लिया है।

पिछले प्रशासन के रिश्ते को साहस से आगे बढ़ाया गया था

ऐसा माना जा रहा है कि अपने पिछले प्रशासन के दौरान भारत-सामग्री क्रय को आगे बढ़ाया जाएगा। वो टेक्नोलॉजी, डिफेंस और कॉमर्स, ट्रेड और कॉमर्स के साथ-साथ आर्थिक मोर्चे पर बड़े कदम उठाने के लिए तैयार हैं। वहीं, वडोदरा असेंबली ग्रुप की तरफ से पिछले कदमों की समीक्षा की गई थी। सचिव रुबियो ने अपने समकक्षों को याद दिलाया कि यह राष्ट्रपति वार्ता ही थी, 2017 में ग्रेट ब्रिटेन के विदेश मंत्री की बातचीत शुरू हुई थी।

कंसीट्रेशन रुबियो ने स्पष्ट रूप से संकेत दिया कि राष्ट्रपति लेवल का निर्माण कार्य आगे बढ़ रहा है। विदेश मंत्री जयशंकर की अपने अमेरिकी समकक्षों के साथ बातचीत काफी सकारात्मक रही है। दोनों ही देश में आपसी हित और सुरक्षा के आधार पर आगे बढ़ने की संभावना है।

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