जम्मू कश्मीर में भारतीय सेना के सुरक्षा बलों द्वारा मारे गए 75 आतंकवादियों में अधिकतम पाकिस्तानी हैं


जम्मू-कश्मीर में मारा गया पाकिस्तानी आतंकवादी: देश में आर्थिक संकटों के बावजूद फ़ोर्ट फ़ोर्सेज़ रेस्टॉरेंट का पूरा समर्थन कर रही है। इसके पीछे का कारण यह है कि इस साल जम्मू-कश्मीर में भारतीय सेना और आतंकवादियों के 60 से अधिक लोग मारे गए थे।

एएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक भारतीय सेना के अधिकारियों ने बताया कि पाकिस्तान में आतंकियों की स्थानीय भर्ती बहुत कम हुई है। इस साल केवल चार स्थानीय लोग ही इन व्यावसायीकरण में शामिल हुए हैं।

75 अस्त्रों को मौत के घाट

सेना अधिकारी ने बताया कि सुरक्षा बल, जम्मू क्षेत्र और कश्मीर घाटी राज्य के विभिन्न क्षेत्रों में विभिन्न लड़ाकू विमानों और अभियानों सहित लगभग 75 दस्ते समाप्त होने में सक्षम हैं। साथ ही नियंत्रण रेखा पर समुद्री तट की ओर से घुसपैठ के प्रयास के दौरान होने वाली शूटिंग में भी सेना ने साहिल को नया बनाया है। पाकिस्तान, जो कि समुद्र तट पर स्थित है, विशेष रूप से भारत में कट्टरपंथियों के सबसे बड़े आरोपों में से एक के रूप में देखा जाता है।

फ़्रॉम एफ़िएसी की टुकड़ियों पर लगाया जा रहा स्क्राव

पिछले साल से जम्मू क्षेत्र में उग्रवाद को बढ़ावा देने की कोशिश की जा रही है, लेकिन राजौरी, पुंछ, डोडा, किश्तवाड़, कथुआ और रियासी समेत जम्मू क्षेत्र में उग्रवाद को बढ़ावा देने की कोशिश की जा रही है। इसके लिए नेशनल राइफल्स की यूनीफॉर्म फोर्स को वहां से वापस बुलाए जाने के बाद पैदा होने वाले खाली हुए पैन को भरा जा रहा है।

किस पर ध्यान केन्द्रित कर रहे सुरक्षा बल

सेना प्रमुख जनरल स्केच डेंटल और उत्तरी सेना कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल एमवी सुचेंद्र कुमार बल की व्हाइट नाइट कॉर्प्स की ओर से देखने वाले क्षेत्र से शिक्षा को समाप्त करने पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं।

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