एमपी स्टेट साइबर सेल ने ऑस्ट्रेलियन नागरिक से साइबर ठगी करने वाले इंजीनियर को इंदौर से गिरफ्तार किया है। ठग ने एपल कंपनी के प्रोडक्ट्स के सॉफ्टवेयर बनाने के लिए उससे संपर्क किया और फिर पार्टनरशिप के लिए एक करोड़ रुपये ले लिए। इसके बाद सीईओ टिम कुक के फर्जी साइन कर कॉन्ट्रैक्ट का ई-मेल भी भेज दिया।
By Prashant Pandey
Publish Date: Thu, 04 Jul 2024 10:40:26 AM (IST)
Up to date Date: Thu, 04 Jul 2024 10:48:19 AM (IST)
HighLights
- इंदौर से सॉफ्टवेयर इंजीनियर मयंक सलूजा को किया गया गिरफ्तार।
- एपल के नाम पर ऑस्ट्रेलियाई नागरिक पॉल शेफर्ड के साथ धोखाधड़ी।
- पॉल ने दोस्त की मदद से इंदौर के थाने में दर्ज कराई थी शिकायत।
Cyber Fraud: नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। मध्य प्रदेश राज्य साइबर सेल ने साफ्टवेयर इंजीनियर मयंक सलूजा को गिरफ्तार किया है। उस पर ऑस्ट्रेलियन नागरिक पॉल शेफर्ड से एक करोड़ रुपये ठगने का आरोप है। आरोपित ने अकाउंट्स सॉफ्टवेयर और ऐपल कंपनी के गैजेट्स की विशेष एप्लीकेशन बनाने का झांसा देकर शेफर्ड से राशि ऐंठी थी।
पुलिस ने वेबसाइट की होस्टिंग भी जब्त की है। एसपी (साइबर) जितेंद्र सिंह के मुताबिक, विक्टोरिया राज्य में रहने वाले पॉल शेफर्ड पेशे से अकाउंटेंट हैं। ग्रीन पार्क कॉलोनी निवासी मयंक सलूजा से वीडियो कॉलिंग एवं कॉन्फ्रेंसिंग वेब ऐप बनाने के संबंध में चर्चा हुई थी।
मयंक ने स्काईप ऐप के माध्यम से कहा कि उसके द्वारा तैयार एप विंडोज पर ही चल रहा है। उसने ऐपल के वेब ब्राउजर (सफारी) आईफोन, आईपैड, मैकबुक के लिए विशेष एप्लीकेशन बनाने का झांसा दिया।
ऑस्ट्रेलियन डॉलर में राशि ली थी
शेफर्ड से लाखों रुपये लिए और कहा कि कोड लेने के लिए ऐपल कंपनी के साथ पार्टनरशिप जरूरी है। टुकड़ों में ऑस्ट्रेलियन डॉलर में राशि ली और ऐपल कंपनी के सीईओ टिम कुक के जाली हस्ताक्षर कर कॉन्ट्रैक्ट भी मेल कर दिया।
चार साल बाद भी एप तैयार न करने पर शेफर्ड ने दोस्त रूपेश शर्मा के माध्यम से अन्नपूर्णा पुलिस को शिकायत की। पुलिस द्वारा कार्रवाई न करने पर साइबर सेल को आवेदन भेजा। टीआई दिनेश वर्मा ने वीडियो कॉल के माध्यम से शेफर्ड के कथन लिए और मयंक के विरुद्ध केस दर्ज कर लिया।