किसान इंद्रेश मीणा ने बताया कि, 22 बीघा में गेहूं की फसल बोई गई थी। 2-4 दिन में फसल कटने वाली थी, लेकिन आग लगने से पूरी फसल जलकर नष्ट हो गई, जिससे लाखों रुपये का नुकसान हुआ है।
By Hemant Kumar Upadhyay
Publish Date: Wed, 03 Apr 2024 10:19 AM (IST)
Up to date Date: Wed, 03 Apr 2024 10:43 AM (IST)
HighLights
- सोंईकलां, गोपालपुरा गांव में गेहूं की फसल में आग लगने से कई किसानों के पास खाने तक नही बचा अन्न का दाना तक
- तहसीलदार ने टीम के साथ खेतों में पहुंचकर किया सर्वे।
- प्रशासन के सर्वे में सोंईकलां हल्के में 148 और गोपाल हल्के में 80 बीघा फसल में हुआ नुकसान।
देवेंद्र गौड़, साेंईकलां। सोंईकलां, गोपालपुरा के खेतों में गेहूं की फसल में आग लगने से किसानों के सपने टूटकर बिखर गए हैं, क्योंकि कई किसानों के घर में बेटे-बेटियों शादी होने वाली थी, लेकिन अब उनको शादी टालनी पड़ रही है, या फिर कर्जा लेकर करनी पड़ेगी। यहां तक कई किसान ऐसे हैं जिनके पास खाने के लिए अन्न का दाना तक नहीं बचा है।
कलेक्टर लोकेश कुमार जांगिड़ ने 24 घंटे में ही नुकसान का सर्वे कराकर मुआवजा देने के निर्देश दिए हैं। यही वजह है कि तहसीलदार हेमलता पाल ने आरआइ विनोद दंडौतिया, हल्का पटवारी हर्ष उपाध्याय, राहुल शर्मा, पुरूषोत्तम राठौर, दीपेंद्र जादौन, राजेंद्र कुशवाह, लक्ष्मण शर्मा, चौकीदार सत्यनारायण नायक, रमेश, ओमप्रकाश के साथ एक-एक खेत में पहुंचकर नुकसान सर्वे कराया। प्रशासन द्वारा कराए गए सर्वे में सोंईकलां हल्के में 33 खोतदार किसानों की 148 बीघा और गोपालपुरा 16 खातेदार किसानों की 80 बीघा में नुकसान हुआ है।
बता दें कि, अज्ञात कारणों के चलते सोमवार की दोपहर अचानक सोंईकलां व गोपालपुरा गांव में खेतों में खड़ी गेहूं की फसल में आग लग गई। भीषण तरीके से लगी आग ने 2 घंटे में 400 बीघा से अधिक गेहूं की फसल जलाकर राख कर दी।
बड़ी मुश्किल से किसानों व दमकल वाहन की मदद से आग पर काबू पाया गया, लेकिन तब तक सैकड़ों फसल जलकर नष्ट हो गई। अब पीड़ित किसानों की मदद के लिए समाजसेवी आगे हाथ बढ़ा रहे हैं। ये समाजसेवी ऐसे किसान जिनकी पुरी फसल जल गई और खाने के लिए कुछ नहीं बचा है उनको गेहूं एकत्रित देंगे और घर में शादी है तो उसके लिए घर-घर से चंदा एकत्रित कर मदद करेंगे। उधर सरपंच संगठन ने भी मीटिंग कर पीड़ित किसानों की मदद करने का निर्णय लिया है, क्षेत्र की प्रत्येक ग्राम पंचायत से चंदा एकत्रित कर पीड़ित किसानों की मदद की जाएगी।
10 मई को उठनी थी बेटी की डोली
सोंईकलां निवासी किसान रामराज मीणा ने बताया कि, आग लगने से 4 बीघा में खड़ी गेहूं की फसल जलकर खाक हो गई है। 10 मई को मेरी बेटी मुस्कान की शादी होनी है, बेटी की शादी धूमधाम से करने के लिए कई सपने देखे थे, लेकिन खेत में खड़ी फसल जलने के साथ ही मेरे सारे सपने भी जल गए हैं। अब किसी तरह बेटी की शादी तो करनी पड़ेगी, शादी करने के लिए कर्जा लेना पड़ेगा। पहले ही केसीसी, बिजली का बिल और बाजार उधार लिए खाद-बीज कर्जा भी चुकाना है।
अब टालनी पड़ेगी बेटे की शादी
किसान इंद्रेश मीणा ने बताया कि, 22 बीघा में गेहूं की फसल बोई गई थी। 2-4 दिन में फसल कटने वाली थी, लेकिन आग लगने से पूरी फसल जलकर नष्ट हो गई, जिससे लाखों रुपये का नुकसान हुआ है। 10 मई को मेरी बेटी की शादी होनी है, फसल बेचने से जो पैसा मिलता उससे बड़े धूमधाम से बेटी की शादी करता, लेकिन अब बेटी की शादी कैसे करूगां, इसलिए शादी टालनी पड़ रही है।
खाने के लिए नहीं बचा अन्न का एक भी दाना
आगजनी की घटना में किसान मुकेश मीणा की 5 बीघा गेहूं की फसल जलकर नष्ट हो गई है। अब किसान मुकेश के पास खाने के लिए अन्न का एक दाना भी नही बचा है। आग बुझने के बाद सुबह जब उसकी पत्नी ओर बेटी खेत पर पहुंची तो जले हुए गेहूं के दाने देखकर उनकी आंखों से आंसू निकल आए। दोनों मां-बेटी रोते-रोते खेत से जले हुए दानों को बिनकर एकत्रित करने में जुट गई।