मध्य प्रदेश-छत्तीसगढ़ में होंगे श्री राम उत्सव के आयोजन Ram Mandir Pran Pratishtha: जब 22 जनवरी को अयोध्या में सनातन का नव-सूर्य उदित होगा। नईदुनिया इसी नव्य-भव्य दुनिया को आज से मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ में प्रणाम करेगा। भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर, रायपुर व बिलासपुर में होगा समागम
Publish Date: Fri, 12 Jan 2024 11:55 AM (IST)
Up to date Date: Fri, 12 Jan 2024 11:55 AM (IST)
HighLights
- मध्य प्रदेश-छत्तीसगढ़ में होंगे श्री राम उत्सव के आयोजन
- इंदौर में आज होगा शुभारंभ
- भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर, रायपुर व बिलासपुर में होगा समागम
Ram Mandir Pran Pratishtha ईश्वर शर्मा, इंदौर। सदियों के लंबे संघर्ष, रक्तपात और हजारों प्राणों के उत्सर्ग के बाद अंतत: अब भारतवर्ष में वह मंगल क्षण आने को है, जब 22 जनवरी को अयोध्या में सनातन का नव-सूर्य उदित होगा। एक ऐसा सूर्य, जिस पर समय के अंधकार और राजनीतिक-धार्मिक षड्यंत्रों ने ग्रहण लगा दिया था। किंतु अब यह ग्रहण पूरी तरह छंट चुका है, नया सवेरा हो चुका है और सनातन का भगवा लहर-लहर लहरा रहा है।
भावनात्मक आनंद और वैचारिक उत्कर्ष की इसी लहर में इन दिनों डूबा हुआ है समूचा देश व देश के बाहर रह रहे सनातन धर्मावलंबी। भक्ति और शक्ति के इस महोत्सव ने भक्तों के हृदय में श्रीराम के प्रति भावनाओं की एक नई दुनिया रच दी है। आपका प्रिय अखबार नईदुनिया इसी नव्य-भव्य दुनिया को आज से मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ में प्रणाम करेगा। वस्तुत: नईदुनिया आज से आरंभ कर रहा है श्रीरामोत्सव के मंगल आयोजनों की एक श्रृंखला।
आज (12 जनवरी) इसका शुभारंभ इंदौर से होगा। इसके पश्चात आयोजन का यह क्रम भोपाल, ग्वालियर, जबलपुर व छत्तीसगढ़ के रायपुर व बिलासपुर भी पहुंचेगा। इस सारस्वत व वैचारिक आयोजन में प्रभु श्रीराम के किसी न किसी कारज के लिए अपने जीवन का एक बड़ा हिस्सा समर्पित कर देने वाले विद्वानों के व्याख्यान होंगे। साथ ही प्रभु श्रीराम के जन्म से लेकर राज्याभिषेक और जीवन के अन्य चरित को नृत्य नाटिका के माध्यम से जन-जन तक पहुंचाया जाएगा।
आयोजन में मंत्रमुग्ध करते हुए हृदय में पावन भावनाएं भर देने वाली रामधुन गाई जाएगी, जिसे महान भारतीय शास्त्रीय गायन कला के समर्पित कलाकार गाएंगे। इसके पश्चात राष्ट्रीय स्तर के कवि अपने काव्य से श्रीराम का स्तुतिगान करेंगे। समारोह के अंत में प्रभु श्रीराम की मंगल महाआरती होगी।
पैनल चर्चा में जीवंत होगी संघर्ष गाथा
श्रीरामोत्सव के तहत एक महत्वपूर्ण पैनल चर्चा होगी, जिसमें संस्कृत, भारतीय संस्कृति, प्रभु श्रीराम का जीवन चरित्र आदि विषयों के विद्वान प्रश्नोत्तरी के माध्यम से अपनी बात कहेंगे। इसमें अयोध्या पर हुए क्रूर आक्रांताओं के हमलों, उनका मुंहतोड़ प्रतिकार, मंदिर निर्माण के लिए साधु, संतों, राजनीतिज्ञों व आम राम भक्तों द्वारा किया गया जमीनी संघर्ष, राजनीतिक इच्छाशक्ति और आंदोलन सहित न्यायालय में लड़ी गई लंबी कानूनी लड़ाई से संबंधित प्रश्न होंगे।
इन पर विद्वतजन अपनी बात कहेंगे। वस्तुत: यह एक गहरा वैचारिक विमर्श होगा, जिसमें प्रभु श्रीराम के इस नव्य-भव्य मंदिर के निर्माण के लिए भारतवर्ष के जनमानस द्वारा किए संघर्ष को बौद्धिक-प्रणाम किया जाएगा।