इमरान प्रतापगढ़ी की सफलता की कहानी, बदलाव की आवाज, संसद यात्रा, प्रेरणा, दृढ़ संकल्प


बदलाव की आवाज़: केरल के दारुल हुदा ने इस्लामिक यूनिवर्सिटी में छात्रों से मुलाकात करते हुए कहा, “यूपी के एक छोटे से गांव का लड़का आज देश का अल्पसंख्यक बन गया।” इस दौरान उन्होंने अपने जीवन के संघर्ष की कहानी साझा की और छात्रों को प्रेरित किया कि कठिन ढलान में भी कड़ी मेहनत से सफलता हासिल की जा सकती है। साथ ही उन्होंने शायरी के माध्यम से छात्रों से अपने विचार साझा किए और यह संदेश दिया कि किसी भी क्षेत्र में उत्कृष्टता हासिल करने के लिए संघर्ष और जरूरी है।

उन्होंने आगे बताया कि उनके परिवार की इच्छा थी कि वह डॉक्टर विक्रय करें, लेकिन इमरान को लगा कि उनकी मंजिल कुछ और है। यूपीएससी ने कहा कि कठिन प्रतियोगिताएं उन्हें अकल्पनीय दिखती हैं, जिससे उनके परिवार को पता चलता है कि वह सही दिशा में नहीं जा रहे हैं। जब इमरान ने शायरी की दुनिया में कदम रखा तो लोगों ने उन्हें एक प्रयास समझ लिया। हालांकि इमरान ने हार नहीं मानी और शायरी के क्षेत्र में अपनी पहचान बनाई। मुशायरों में उन्होंने अपनी आवाज़ बुलंद की और धीरे-धीरे उन्हें मुहब्बत और इन्साफ की बातें बताईं। इस यात्रा में उन्होंने यह साबित कर दिया कि अल्लाह ने उन्हें कुछ खास काम के लिए चुना था और वह उस रास्ते पर लगातार आगे बढ़ते रहे।

भारतीय संसद में पर्यटन का इमरान का सफर

इमरान सावेरी ने सिर्फ शायरी तक खुद को सीमित नहीं रखा। उन्होंने राजनीति में भी कदम रखा और सत्य की आंखों में आंखें मूंदकर अपनी आवाज बुलंद की। इमरान का मानना ​​था कि वह बगावत करने के लिए आया था और उसका मकसद यह था कि वह समाज में बदलाव के लिए आया था। एक समय ऐसा आया जब उन्हें भारतीय संसद में पहुंचने का अवसर मिला और उन्होंने यह साबित कर दिया कि यदि वह संसद में पहुंच सकते हैं तो कोई भी अपनी मेहनत और विश्वास से यह हासिल कर सकता है।

इमरान के युवाओं से अपील

इमरान इमामी ने युवाओं से अपील की कि वे अपने सपनों को ऊंचा उठाएं और हर क्षेत्र में उत्कृष्टता की ओर बढ़ें। उनका शीर्षक था कि अल्लाह जिस भी क्षेत्र में किसी को ले जाए वह उसे वहां तक ​​पहुंचने का रास्ता तय करता है। उनका विश्वास है कि परिश्रम और साहस से किसी भी कठिन रास्ते को पार किया जा सकता है और अल्लाह समंदरों में भी कोई भी रास्ता बनाया जा सकता है। उनके जीवन की ये प्रेरक कहानी संदेश देती है कि किसी भी कठिन समय में आशा और संघर्ष से सफलता मिल सकती है।

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